ज्येष्ठा नक्षत्र के जातक सुरक्षा विभाग से जुड़े काम, सरकारी कर्मचारी, संवाददाता, गुप्तचर, शल्य चिकित्सक आदि के रूप में सफल हो सकते हैं।
Jyeshtha Nakshatra: वैदिक ज्योतिष के अनुसार ज्येष्ठा, राशिचक्र का अठारहवां नक्षत्र है। इसका स्वामी बुध ग्रह है और देवता इंद्र हैं। यह लटकते कर्णफूल या छाते की तरह दिखायी देता है। यह मंगल द्वारा शासित वृश्चिक राशि में 226 डिग्री 40 मिनट से 240 डिग्री तक फैला हुआ है। ज्येष्ठा का अर्थ है वरिष्ठतम। लेकिन यहां यह बड़ी बहन या हाथ की मध्यमा उंगुली को दर्शाता है। ज्येष्ठा-बुध-मंगल का समन्वय जातकों को दिलेरी और स्वतंत्रता की अदम्य इच्छा देता है।