Shani-Mangal Shadashtak Yog: वैदिक पंचांग में ग्रहों की युति और गोचर का विशेष महत्व होता है। ग्रहों के गोचर से जिस तरह के योग का निर्माण होता है, उसका सभी के जीवन पर शुभ या अशुभ प्रभाव पड़ता है। अगले हफ्ते एक बहुत अशुभ योग बनने जा रहा है, जिसका कई राशियों पर काफी नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है। 30 जून को मंगल का गोचर कर्क राशि में होने जा रहा है है। इसके साथ ही शनि वक्री होकर कुंभ राशि में हैं। कर्क राशि में मंगल के प्रवेश करते ही मंगल का शनि के साथ षडाष्टक योग बनेगा। ज्योतिष में इसे बेहद अशुभ माना गया है। इस वजह से कई राशियों के जातकों की मुश्किलें बढ़ सकती हैं। आइए पहले जानते हैं कि षडाष्टक योग होता क्या है और इसका क्या दुष्परिणाम हो सकता है।
जब गोचर में दो ग्रह एक दूसरे से छठे और आठवें स्थान पर बैठे हों, तो इसे षडाष्टक योग कहते हैं। ज्योतिष में छठे और आठवें, दोनों स्थानों को अशुभ परिणाम देने वाला भाव माना जाता है। इन स्थानों पर बैठे ग्रह आम तौर रक नकारात्मक परिणाम देते हैं और जातकों की परेशानी बढ़ाते हैं। कुंभ में पापी ग्रह शनि बैठा है, जो 17 जून से वक्री भी हो रहा है। उससे छठे स्थान में दूसरे पाप ग्रह मंगल का गोचर हो रहा है। इन दोनों में मित्रता का भाव भी नहीं है। ऐसे में कुछ राशियों के इसके बहुत बुरे परिणाम देखने को मिल सकते हैं। आइये जानते हैं कि इस अवधि में किन राशियों के जातकों को सावधान रहना चाहिए।
इस राशि के लोगों को षडाष्टक योग से सावधान रहना चाहिए। आपकी राशि के लिए मंगल सुख और भाग्य स्थान के स्वामी हैं। ऐसे में शनि-मंगल गोचर से आपके भाग्य की हानि होगी और सुख-सुविधाओं में कमी आएगी। भूमि, संपत्ति से जुड़े विवाद में ना पड़ें, अन्यथा कोर्ट-कचहरी के चक्कर में फंसना पड़ सकता है। इस दौरान भूमि-संपत्ति, वाहन आदि की खरीद-बिक्री के जुड़ी कोई डील ना करें। शनि- मंगल के षडाष्टक योग से आपके खर्चों में वृद्धि हो सकती है और माता का स्वास्थ्य खराब हो सकता है। अगर इस समय कोई यात्रा करना पड़े, तो विशेष सावधानी बरतें।
आपकी राशि के लिए षडाष्टक योग प्रतिकूल सिद्ध हो सकता है। मंगल आपके पांचवें और बारहवें भाव के स्वामी हैं, जबकि शनि दूसरे और तीसरे भाव के स्वामी हैं। इस योग में आपके संतान की पढ़ाई-लिखाई से संबंधित खर्च में वृद्धि हो सकती है। आपका आपकी संतान जन्म स्थान से दूर या विदेश में पढ़ाई कर रहा है, तो उसके लिए परेशानी और खर्चे बढ़ने की आशंका है। सेहत को लेकर सावधान रहें, अचानक अस्पताल का खर्च सामने आ सकता है। मंगल-शनि के अशुभ योग से आपको गले और मुंह से संबंधित कुछ परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है। वाहन चलाने में सावधानी बरतें, क्योंकि दुर्घटना के योग बन रहे हैं।
आप लोगों के लिए षडाष्टक योग अशुभ साबित हो सकता है। क्योंकि इस समय राशि स्वामी शनि वक्री चाल चलेंगे और मंगल आपके जीवन में कई तरह से उथल-पुथल मचाएंगे। इस समय आपको दांपत्य जीवन में तनाव हो सकता है। वहीं नौकरी-कारोबार में संघर्षपूर्ण स्थिति का सामना करना होगा। इस समय आपको अपने विरोधियों से सचेत रहना चाहिए, अन्यथा वो नुकसान पहुंचा सकते हैं। इस समय कोई नया काम शुरू नहीं करें और आर्थिक पक्ष को लेकर सावधान रहें।
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