रविकांत सिंह राजपूत, मनेंद्रगढ़। छत्तीसगढ़ का पहला समुद्री फॉसिल्स पार्क कोरिया जिले के मनेंद्रगढ़ शहर में बनेगा। प्रदेश के पहले फॉसिल्स पार्क का निर्माण यहां पाए गए 25 करोड़ साल पुराने समुद्री फॉसिल्स के समृद्ध संग्रह की खोज के बाद किया जा रहा है। मनेंद्रगढ़ के डीएफओ एस वेंकटचलम ने इस संबंध में बताया कि फसिल्स पार्क का निर्माण हसदेव नदी स्थित टाउनशिप के बाहरी क्षेत्र आमाखेरवा में किया जा रहा है।
यहां फॉसिल्स की खोज कुछ साल पहले वन विभाग के अधिकारियों द्वारा की गई थी। वन विभाग के अधिकारियों ने इसके बारे में बीरबल साहनी इंस्टीटयूट ऑफ पैलियोबॉटनी लखनऊ से सलाह ली थी। इंस्टीटयूट ने क्षेत्र की जांच के लिए बीते दिनों वैज्ञानिकों की एक टीम भेजी थी और उन्होंने इस बात की पुष्टि की थी कि इस क्षेत्र का विकास जियो-हेरिटेज सेंटर के रूप में किया जाना चाहिए।
वन विभाग के मुताबिक राज्य सरकार ने इसे समुद्री जीवाश्म पार्क के रूप में विकसित करने के लिए बजट में 17.50 लाख का प्रावधान किया है। इस बजट की कुछ राशि से फॉसिल्स पार्क वाले क्षेत्र को घेरा जा चुका है। प्रस्तावित पार्क हसदेव और हसिया नदी के संगम पर करीब 1 किलोमीटर क्षेत्र में विकसित किया जाएगा।
ये जीवाश्म मिले
शहर के आमाखेरवा इलाके के पास हसदेव नदी के बीच करीब एक किलोमीटर का क्षेत्र समुद्री जीवों और वनस्पतियों के जीवाश्म से भरा हुआ है। इस क्षेत्र में बाइवाल्व मोलस्का, युरीडेस्मा और एवीक्युलोपेक्टेन आदि समुद्री जीवों के जीवाश्म मौजूद हैं। इनके अलावा पेलेसिपोड्स, गैस्ट्रोपोड्स, ब्रेकियोपोड्स, ब्रायोजोअन्स और क्रिनएड्स प्रजाति के जीव भी हैं।
वनस्पतियों को भी संरक्षित करने की योजना
अभी जीवाश्म वाली जगह को वन विभाग द्वारा घेर लिया गया है। यहां जीवाश्म के अलावा दुर्लभ प्रजाति के जीव और वनस्पतियों को भी संरक्षित करने की योजना है। विभाग की ओर से यहां जीवाश्म के अलावा दुर्लभ प्रजाति के जीव और वनस्पतियों के अवशेष भी संरक्षित रखे जाएंगे।
क्या है फॉसिल्स
फॉसिल्स से तात्पर्य वह समुद्री जीव जंतु है जो करोड़ो वर्ष पहले यहां लहराते समुद्र में रहते थे, तथा प्राकृतिक परिर्वतन एवं पृथ्वी के पुनर्निर्माण में समुद्र के हटने पर उन जीवों के अंश पत्थरों के मध्य दबकर यथावत रह गए थे। फॉसिल्स पृथ्वी के परिर्वतन के वैज्ञानिक साक्ष्य है।
देश में चार जगह हैं ऐसे जीवाश्म
सुबांसरी (अरुणाचल प्रदेश)
राजहरा (झारखंड)
दार्जिलिंग (पश्चिम बंगाल)
खेमगांव (सिक्किम)
फॉरेस्ट विभाग ने फसिल्स वाले एरिया को घेर दिया है। योजना के अगले चरण में पार्क क्षेत्र का सौंदर्यीकरण किया जाएगा, जल्द ही सौंदर्यीकरण की रुपरेखा तैयार कर काम की शुरुआत की जाएगी। एस वेंकटचलम, डीएफओ