एजेंसी, रांची। झारखंड की राजनीति के लिए सोमवार का दिन बेहद अहम होने जा रहा है। हेमंत सोरेन की गिरफ्तारी के बाद मुख्यमंत्री पद की शपथ लेने वाले चंपई सोरेन को अपना बहुमत हासिल करना है।
इसके लिए दो दिन का (5 और 6 फरवरी) झारखंड विधानसभा का विशेष सत्र बुलाया गया है। रांची के सियासी गलियारों में चर्चा है कि झारखंड मुक्ति मोर्चा (JMM) के कुछ विधायक चंपई सोरेन के सम्पर्क में नहीं हैं।
चंपई सोरेन ने दो मंत्रियों के साथ शपथ ली थी। इसके बाद सत्तारूढ़ दल के करीब 40 विधायकों को हैदराबाद भेज दिया गया था। ये विधायक भी रिजॉर्ट में ठहरे हैं। इन्हें रांची लाकर सर्किट हाउस में ठहराया जाएगा।
ये रविवार शाम 6 बजे रांची लौट आएंगे। इन्हें एयरपोर्ट से सीधे सर्किट हाउस ले जाया जाएगा।
इस बीच झारखंड मुक्ति मोर्चा में असंतोष की खबरें भी आ रही हैं। हेमंत सोरेन सरकार में मंत्री रहे लोबिन हेम्ब्रम ने आरोप लगाया है कि झारखंड में आदिवासियों की जमीन गलत तरीके से ट्रांसफर की गई है।
उन्होंने कहा कि हेमंत सोरेन अपने करीबियों की गलती के कारण जेल गए हैं। करीबियों ने उन्हें गलत सलाह दी और आदिवासियों की जमीन छीनने कोशिश की गई।
फ्लोर टेस्ट के दौरान पूर्व सीएम हेमंत सोरेन भी सदन में उपस्थित रहेंगे। उनकी याचिका पर शनिवार (3 फरवरी) को पीएमएलए (धन शोधन निवारण अधिनियम) अदालत ने अनुमति दे दी।