Mahakal Sawari Ujjain: उज्जैन (नईदुनिया प्रतिनिधि)। श्रावण मास के पहले सोमवार को बाबा महाकाल की परंपरा अनुसार निकलने वाली सवारी निकली। शाम 4 बजे रजत पालकी में सवार होकर राजाधिराज मनमहेश रूप में जैसे ही मंदिर प्रांगण से बाहर आए, चहुंओर जय महाकाल का उद्घोष गूंज उठा। कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए प्रशासन ने श्रद्धालुओं के सवारी में शामिल होने पर रोक लगा रखी है। इस कारण भक्तों ने दूर से ही अवंतिकानाथ के दर्शन किए।
राजाधिराज मनमहेश रूप में जैसे ही मंदिर प्रांगण से बाहर आए, चहुंओर जय महाकाल का उद्घोष गूंज उठा। #mpnews #ujjainnews #mahakalsawari https://t.co/xf1ZPEU8AH pic.twitter.com/U3BgVe4aXX
— NaiDunia (@Nai_Dunia) July 26, 2021
परंपरा अनुसार दोपहर 3.30 सभा मंडप में पुजारियों ने भगवान का पूजन किया। पूजन में कलेक्टर आशीष सिंह और एसपी सत्येंद्र शुक्ला भी मौजूद थे। संभा मंडप में पूजन के बाद शाम 4 बजे भगवान शाही ठाठ के साथ नगर भ्रमण पर निकले। मंदिर के शहनाई द्वार पर सशस्त्र बल की टुकड़ी ने राजाधिराज को सलामी दी। इसके बाद सवारी रामघाट की ओर रवाना हुई।
लाइव प्रसारण
कोरोना संक्रमण की रोकथाम के लिए सवारी में भक्तों का प्रवेश प्रतिबंधित किया गया है। दर्शन की व्यवस्था आनलाइन की गई है। श्रद्धालु मंदिर की वेबसाइट और फेसबुक पेज पर सवारी का लाइव प्रसारण देख सकते हैं।
रंगारंग आतिशबाजी के बीच शिव-शक्ति मिलन
शक्तिपीठ हरसिद्धि मंदिर पर रंगारंग आतिशबाजी के बीच शिव-शक्ति मिलन हुआ। हर और हरसिद्धि के मिलन के लिए हरसिद्धि मंदिर को आकर्षक फूल व रंगोली से सजाया गया था। हरसिद्धि मंदिर के पुजारियों ने भगवान महाकाल को सोला दुपट्टा भेंट कर आरती की।
महाकाल मंदिर समिति की ओर से माता हरसिद्धि को चुनरी व सौभाग्य सामग्री अर्पित की गई। राजाधिराज के स्वागत में प्रशासन ने सवारी मार्ग पर रेड कारपेट बिछाया था। रुद्रसागर पर सड़क के दोनों ओर रंगबिरंगी ध्वजा लगाई गई थी। रंगोली भी सजाई गई थी। पूरा सवारी मार्ग दुल्हन की तरह सजा हुआ था।