Mahakal Savari : परिवर्तित मार्ग से ही निकलेगी भगवान महाकाल की शाही सवारी
Mahakal Savari : राजा के स्वागत में तोरण द्वार बनेंगे, आतिशबाजी व पुष्पवर्षा भी होगी।
By Hemant Kumar Upadhyay
Edited By: Hemant Kumar Upadhyay
Publish Date: Fri, 14 Aug 2020 11:40:45 PM (IST)
Updated Date: Sat, 15 Aug 2020 05:44:06 AM (IST)
Mahakal Savari : उज्जैन (नईदुनिया प्रतिनिधि)। 17 अगस्त को निकलने वाली भगवान महाकाल की शाही सवारी नए परिवर्तित मार्ग से ही निकलेगी। कोरोना संक्रमण के चलते प्रशासन ने यह निर्णय लिया है। शाही सवारी पर राजाधिराज महाकाल के स्वागत में रेड कॉरपेट बिछाया जाएगा। तोरण द्वार व वंदनवारों से मार्ग की सज्जा होगी। अवंतिकानाथ के स्वागत में रंगारंग आतिशबाजी व पुष्पवर्षा की जाएगी।
बता दें कि प्रशासन शाही सवारी को परंपरागत मार्ग से निकालने की योजना बना रहा था, मगर कोरोना संक्रमण को रोकने व भीड़ नियंत्रण की दृष्टि से नए मार्ग से ही सवारी निकालने का फैसला हुआ। मंदिर प्रशासक सुजानसिंह रावत ने बताया कि परंपरागत शाही सवारी मार्ग करीब सात किलोमीटर लंबा है।
इस मार्ग पर प्रमुख बाजार व सघन रहवासी क्षेत्र है। भीड़ नियंत्रण की दृष्टि से यह मार्ग उचित नहीं है, इसलिए नए परिवर्तित मार्ग से ही सवारी निकालने का निर्णय लिया गया है। रामघाट का दृश्य भी मनोरम होगा। सवारी के ऑनलाइन दर्शन करने वाले भक्तों के लिए कोरोना काल में निकलने वाली शाही सवारी यादगार रहेगी।
ज्योतिरादित्य सिंधिया करेंगे पूजन
भाजपा नेता व राज्यसभा सदस्य ज्योतिरादित्य सिंधिया शाही सवारी में शामिल होंगे। मोक्षदायिनी शिप्रा के रामघाट पर वे भगवान महाकाल की पूजा-अर्चना करेंगे। भगवान महाकाल की शाही सवारी पर सिंधिया राजवंश की ओर से पूजन करने की पंरपरा है। राज परिवार के सदस्य सिंधिया देव स्थान ट्रस्ट के प्रसिद्घ गोपाल मंदिर से पालकी का पूजन करते आए हैं, लेकिन इस बार परिवर्तित मार्ग से सवारी निकलने के कारण सिंधिया रामघाट पर पूजा-अर्चना करेंगे।