नईदुनिया,मंडला (Mandla News)। रात के अंधेरे में अजगर ने एक वृद्ध पर हमला कर दिया और उसकी गर्दन कसकर जकड़ ली। जिस वजह से उसका सांस लेना मुश्किल हो गया। वृद्ध को अस्पताल ले गए, जहां डाक्टरों ने मृत घोषित कर दिया। वहीं भुआबिछिया नगर के लोग भय के कारण अपने घरों से निकल नहीं पा रहे हैं। जिस ओर बाघ के विचरण करने की खबर है,उस तरफ जहां वन अमला सड़क से ही निगरानी रख रहा है,धान के खेतों में अंदर नहीं जा पा रहा।
रास्ते में खेत की मेढ़ पर घास में छिपकर बैठा अजगर उनके पैर में लिपट गया। जिससे वह हड़बड़ाकर वहीं गिर पड़े। इसके बाद अजगर ने धीरे-धीरे उनकी गर्दन को कसकर जकड़ लिया। काफी देर बीत जाने पर जब वह घर नहीं लौटे तो, उनका दामाद खोजने गया। लेकिन यह नजारा देख वह सन्न रह गया। अजगर प्रेम लाल की गर्दन को लपेटे हुए था। युवक के शोर मचाने पर ग्रामीण पहुंच गए। उन्होंने जैसे-तैसे गर्दन से अजगर को छुड़ाया।
बेहोशी की हालत में वृद्ध को बहमनी अस्पताल ले जाया गया, जहां डाक्टरों ने जांच के बाद प्रेम लाल को मृत घोषित कर दिया। ग्रामीणों ने मामले की सूचना वन विभाग को दी। मौके पर पहुंचे वनकर्मियों ने कड़ी मशक्कत के बाद अजगर का रेस्क्यू किया। अजगर को जंगल में छोड़ दिया गया
बाघ भी धान के खेतों से मिलता रंग होने के कारण अपने आप को छिपा रहा है। जिससे उसकी तलाश नहीं हो पा रही है। जिससे लोगों में अब भय का वातावरण और अधिक बढ़ गया है।
बताया जा रहा है कि रविवार को बाघ भुआबिछिया के वार्ड नंबर 13 और जंतीपुर में देखा गया था। उसके बाद शाम को तहसील के पास गया ठाकुर के घर के पीछे देखा गया। देर रात्रि में बिछिया जलाशय के जल द्वार के पास करीब 2 बजे देखा गया।
सोमवार को भी बाघ देखा गया। 12 से दो बजे के बीच सरारटोला और डुंगरा के बीच देखा गया। वहीं शाम को 6 बजे के लगभग डुगरा गांव के गौरी जंघेला की बाड़ी और बसंत जंघेला के खेत के बीच देखा गया है।
रात 3 बजे के लगभग सरारटोला के प्राथमिक शाला के पीछे लगी बस्ती में उसने एक बेल पर भी हमला किया, जिससे बैल को गर्दन में चोट है। बताया जा रहा है कि बैल भुआ बिछिया नगर के जंतीपुर,सरारटोला, भडंगा मुहल्ला, डुंगरा गांव के आसपास विचरण कर रहा है।
जिन क्षेत्रों में बाघ का मूवमेंट है,वहां दहशत बहुत अधिक बनी हुई है। लोग बैल पर हमले के बाद दूसरे दिन बाघ के डर से शौच के लिए भी बाहर नहीं जा पा रहे हैं। भय लग रहा है कि कहीं वे खुले में गए तो बाघ आकर उन प हमला न कर दे।
बाघ का क्षेत्र में विचरण करने की जानकारी लोगों को जब से हुई है। तब से लोग उसका दीदार करने भी सड़क किनारे बड़ी संख्या में जुट रहे हैं। वन विभाग की टीम उन्हें एक निश्चित दूरी से अधिक पर नहीं जाने दे रही है। वन अमला भी लगातार उसकी तलाश में लगा हुआ है।
बताया जा रहा है कि यह जो बाघ भुआबिछिया क्षेत्र में देखा गया है वह कान्हा टाइगर रिजर्व का है। कान्हा से सटा हुआ क्षेत्र होने के कारण इस ओर आ गया है। एसडीओ बफर सिझौरा,कान्हा टाइगर रिजर्व मितेंद्र किचखेड़े ने बताया कि लगातार सर्चिंग की जा रही है।
बिछिया,मोतीनाला,सिझौरा रेंज,बफर रेंज और कान्हा की रेस्क्यू टीम क्षेत्र में नजर बनाए हुए हैं। गांव में मुनादी कराई गई है। नेवसा व डुंगरा के बीच लोकेशन बाघ की मिली है। हमारा प्रयास है कि बाघ गांव से सुरक्षित रूप से जंगल की ओर वापस लौट जाए।