Jabalpur News: जबलपुर, नईदुनिया प्रतिनिधि। मुख्यमंत्री के जबलपुर शहर आगमन के दौरान सफाई कार्यों में लापरवाही बरतना कर्मचारियों को महंगा पड़ गया है। नगर निगम मुख्यालय जोन क्रमांक 13 के मुख्य स्वच्छता निरीक्षक (सीएसआइ) और दयानंद सरस्वती वार्ड के सुपरवाइजर पर कार्रवाई की गाज गिरी है। निगमायुक्त ने इस अनुशासन हीनता और अमर्यादित आचरण मानते हुए वार्ड सुपरवाइजर को जहां निलंबित कर दिया है, वहीं सीएसआइ को कारण बताओ नोटिस जारी किया है। यदि जबाव संतोषजनक नहीं मिला तो सीएसआइ पर भी निलंबन की गाज गिर सकती है।
स्वास्थ्य अधिकारी भूपेंद्र सिंह ने बताया कि 10 जून को मुख्यमंत्री का नगर आगमन होता था। जिसे ध्यान में रखते हुए नगर आगमन को दृष्टिगत रखते हुए बड़ी ओमती, देवी माता मंदिर जाने के रूट में साफ-सफाई कराने वार्ड सुपरवाइजर रमनाराव और सीएसआइ वैभव तिवारी को निर्देशित किया गया था। लेकिन दोपहर 12 बजे तक भी उस रूट की साफ-सफाई नही कराई गई। नगर निगम मुख्यालय से रोड स्वीपिंग मशीन भेजकर सफाई कराई गई।
10 जून की शाम को मुख्यमंत्री के नगर आगमन के ठीक पहले स्वास्थ्य अधिकारी द्वारा पुल नं. 2 से कलेक्टेट चौक तक रूट पर निरीक्षण किया गया तो प्रातः जैसी गंदगी पाई गई। मार्ग पर पन्नी, पाउच बिखरे पड़े थे। वार्ड सुपरवाइजर भी गायब रहा। निगमायुक्त स्वप्निल वानखडे को इससे अवगत कराया गया। निगमायुक्त ने इस अपने कर्तव्यों के प्रति उदासीनता, निर्देशों की अवहेलना तथा अनुशासनहीनता का द्योतक मानते हुए वार्ड सुपरवाइजर को निलंबित कर दिया।
स्वास्थ्य अधिकारी ने बताया कि वीआइपी आगमन के लिए जो रूट निर्धारित किया था। वहां साफ-सफाई के लिए एक भी सफाई कर्मचारी मौजूद नहीं था। सीएसआइ वैभव तिवारी को बुलाया गया लेकिन वे उपस्थित नहीं हुए जो अनुशासनहीनता का द्योतक है। निगमायुक्त ने सीएसआइ को भी कारण बताओ नोटिस जारी किया है। जिसमें कहा गया है कि 24 घंटे के अंदर यदि कारण स्पष्ट नहीं मिलता है तो अनुशासनात्मक कार्रवााई प्रस्तावित करते हुए एकपक्षीय कार्रवाई की जाएगी।