Madhya Pradesh Pollution Control Board : 10 बिस्तर के अस्पताल को आजीवन लाइसेंस शुल्क हजार रुपये किया तय
दस बिस्तरों के अस्पताल को शुरू करने के लिए प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड ने सुविधाएं दी हैं।
By Brajesh Shukla
Edited By: Brajesh Shukla
Publish Date: Sat, 22 Jan 2022 02:10:00 PM (IST)
Updated Date: Sat, 22 Jan 2022 02:10:42 PM (IST)
जबलपुर, नईदुनिया प्रतिनिधि। मप्र के अंदर नया उद्योग, अस्पताल शुरू करने के लिए हजारों रुपये सम्मति शुल्क नहीं चुकाना होगा। ना ही महीनों फाइल लेकर दफ्तर के चक्कर काटना होगा। आवेदन करने के बाद 30 दिन के भीतर मंजूरी मिलेगी। यदि किसी तरह की देरी हुई तो मियाद बीतते ही स्वत: कम्प्यूटर डीम्ड सम्मति जारी कर देगा। इसके अलावा नए उद्योग के लिए जहां 10 हजार रुपये शुल्क देना पड़ता था उसे घटाकर महज 800 रुपये कर दिया गया है।
मप्र प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड की शुक्रवार को कार्यशाला हुई। जिसमें प्रदूषण बोर्ड के अधिकारी डा.आलोक जैन ने इस संबंध में उद्योगपतियों और अस्पताल संचालकों को जानकारी दी। प्रशिक्षण कार्यशाला में डा.सुनील मिश्रा, जिला चिकित्सा अधिकारी डा.रत्नेश कुररिया के साथ 50 से ज्यादा स्वास्थ्य अधिकारी मौजूद रहे। क्षेत्रीय अधिकारी मप्र प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड डा. आलोक जैन ने कहा कि 10 लाख रुपये के निवेश वाले उद्योग को जल, वायु प्रदूषण से जुड़ी सम्मति के लिए 10 हजार रुपये शुल्क देय होता था। अब यह राशि 800 रुपये होगी। नए अस्पताल और उद्योग को 30 दिवस में सम्मति दी जाएगी। बाेर्ड की तरफ से इंटरनेट मीडिया के माध्यम से सीधे लाइसेंस भेजा जाएगा। आनलाइन आवेदन के बाद एसएमएस के माध्यम से जानकारी अलर्ट में दी जाएगी। 10 बिस्तर के चिकित्सा संस्थानों को आजीवन लाइसेंस की सुविधा महज हजार रुपये में दी गई है। कार्यशाला में वरिष्ठ वैज्ञानिक टीएस बैनर्जी ने जीव चिकित्सा अपशिष्ट प्रबंधन के विषय में विस्तार से जानकारी दी। इसके अलावा आनलाइन आवेदन करने की प्रक्रिया के बारे में बताया। क्षेत्रीय अधिकारी ने सात दिन के भीतर सभी चिकित्सालयों को आनलाइन आवेदन करने के निर्देश दिए है। कार्यशाला का संचालन डा.एस के खरे ने किया।