इटारसी। गुरूवार शाम रेलवे के नया यार्ड स्थित डीजल लोको शेड परिसर में आग लगने से हड़कंप मच गया। जानकारी के अनुसार शेड की ट्रेक्शन मोटर यूनिट में भीषण आग लग गई। आग लगते ही यहां काम कर रहे कर्मचारियों में भगदड़ मच गई। घबराए कर्मचारियों ने शेड में मौजूद अग्रिशामक यंत्रों एवं नपा की दमकल को सूचना दी, जिसके बाद दमकल वाहन मौके पर पहुंचा। काफी मशक्कतजाने तक आग काबू कर ली गई थी।
डीजल शेड में रेलवे के डीजल इंजन रखरखाव के लिए आते हैं, यहां विभिन्न इकाइयों में इंजन के पार्टस खोलकर उनका रखरखाव किया जाता है, जिस यूनिट में आग लगी है, वहां इंजन के हेवी उपकरणों को खोलकर इनकी वाशिंग एवं साफ सफाई की जाती है।
आग लगने को लेकर अभी रेलवे के आला अधिकारी कुछ भी कहने से इंकार कर रहे हैं। सुरक्षा लिहाज से जीआरपी- आरपीएफ के अलावा सिटी पुलिस का अमला भी मौके पर पहुंचा है। शेड की निगरानी सीनियर डीएमई स्तर के अधिकारी करते हैं। आग कैसे लगी, आगजनी में कितना नुकसान हुआ है, किन उपकरणों को क्षति पहुंची है, यह बात जांच के बाद सामने आएगी।
शेड परिसर में डीजल इंजनों में लोड किया जाने वाला डीजल और उपयोग के बाद स्क्रैप आइल का भंडारण रहता है, हालांकि इस स्थल से आग काफी दूर लगी है, जिससे विस्फोटक सामग्री तक आग की लपटें नहीं पहुंच सकीं। शाम आग लगने की खबर के बाद शेड परिसर के बाहर गहमागहमी का माहौल बन गया, सैकड़ों रेलकर्मी मौके पर जमा हो गए। आग बुझाने के प्रयास किए जा रहे हैं। आला अधिकारियों तक यह मामला पहुंच गया है। प्राथमिक जांच में शार्ट सर्किट से आग लगने की बात सामने आई है, हालांकि जांच के बाद ही रेलवे आगजनी के सही कारणों तक पहुंचेगी।
शेड में रखरखाव के लिए करोड़ों रुपयों के मूल्य वाले रेलवे इंजन आते हैं, इनके रखरखाव में सैकड़ों कर्मचारी यहां तैनात रहते हैं, इस लिहाज से यह रेलवे की बड़ी डिपो है, विद्युतीकरण होने के बाद अब कई सेक्शन में डीजल इंजनों का उपयोग कम हुआ है, लेकिन आज भी कई लाइन पर डीजल इंजन चल रहे हैं, शटिंग के लिए भी इनका उपयोग किया जाता है। संयोग से आग को समय रहते काबू कर लिया गया, वरना पूरा शेड परिसर इसकी चपेट में आ सकता था। आला अधिकारी भी मौके पर पहुंच गए हैं।