देवी अहिल्या केन्द्रीय पुस्तकालय जुड़ा 5 हजार पुस्तकालयों से
देवी अहिल्या केन्द्रीय पुस्तकालय को दुनिया के 5 हजार पुस्तकालयों और लगभग 2 करोड़ पुस्तकों से जोड़ दिया गया है।
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Publish Date: Thu, 28 Aug 2014 07:29:57 PM (IST)
Updated Date: Thu, 28 Aug 2014 07:43:26 PM (IST)
इंदौर । कमिश्नर संजय दुबे ने गुरुवार को देवी अहिल्या केन्द्रीय पुस्तकालय को क्लिक करके दिल्ली की डेलनेट संस्था (डेवलपिंग लायब्रेरी नेटवर्क) से जोड़कर दुनिया के 5 हजार पुस्तकालयों और लगभग 2 करोड़ पुस्तकों से जोड़ दिया। इंदौर में बैठकर कोई भी पाठक इंटरनेट के जरिये डेलनेट संस्था के सौजन्य से 2 करोड़ किताबों से सीधे सम्पर्क कायम कर सकते हैं और ज्ञानार्जन कर सकते हैं।
कार्यक्रम के मुख्य अतिथि संजय दुबे ने कहा कि पुस्तकालय ज्ञान पिपाशा शांति के केन्द्र हैं। इन पुस्तकालयों को आधुनिक तकनीकी सुविधाओं से लैश करना जरूरी है। हमें समय के साथ कंधे से कंधा मिलाकर चलना पड़ेगा। देवी अहिल्या केन्द्रीय पुस्तकालय में इस समय 70 हजार पुस्तकें हैं, मगर डेलनेट संस्था से जुड़े जाने के बाद यह पुस्तकालय भारत के 4500 और दुनिया के अन्य देशों के 500 पुस्तकालयों से सीधे जुड़ गया है।
इससे यहां के विद्यार्थियों को बहुत लाभ होगा। यह हमारे लिये बड़े गर्व की बात है। डेलनेट संस्था में सर्वाधिक पुस्तकें साइंस और टेक्नॉलाजी की हैं। हम इंदौर में बैठकर संयुक्त राज्य अमेरिका, यूनाइटेड अरब अमीरेट्स, पाकिस्तान, फिलीपिंस आदि देशों के पुस्तकालयों से सीधे जुड़ गये हैं। इस अत्याधुनिक सुविधा से अध्ययन की परम्परा कायम रहेगी।
श्री दुबे ने सुझाव दिया कि देवी अहिल्या केन्द्रीय पुस्तकालय को भोपाल की ब्रिटिश लायब्रेरी की तर्ज पर विकसित किया जाना चाहिये। उन्होंने यह भी सुझाव दिया कि इस पुस्तकालय परिसर में नियमित रूप से लेखकों का सम्मेलन, कैरियर मार्गदर्शन और बच्चों की क्विज प्रतियोगिता नियमित रूप से होती रहना चाहिये।
कार्यक्रम की विशिष्ट अतिथि एवं डेलनेट नेटवर्क मैनेजर डॉ.संगीता कौल ने कहा कि पूरी दुनिया संचार क्रांति के दौर से गुजर रही है। हम इससे अछूते नहीं रह सकते। डेलनेट संस्था ने पुस्तकालय और सूचना विज्ञान को संचार क्रांति से जोड़ने का संकल्प लिया है। डेलनेट ने दुनिया के 5 हजार पुस्तकालयों को एक-दूसरे से जोड़ दिया है। ऐसा करने से दुनिया के करोड़ों पाठक और हजारों लेखक एक-दूसरे से अपने आप जुड़ गये हैं।
देवी अहिल्या केन्द्रीय विद्यालय से स्कूल और कॉलेज के विद्यार्थियों को बड़ा लाभ होगा। बच्चों के लिये इस नेटवर्क में 61 हजार से भी अधिक पुस्तकें उपलब्ध हैं। राष्ट्रीय शैक्षणिक अनुसंधान एवं प्रशिक्षण परिषद (एनसीईआरटी) की पुस्तकें भी अब देवी अहिल्या केन्द्रीय पुस्तकालय में ऑन लाइन उपलब्ध रहेंगी। इस पुस्तकालय से विज्ञान और टेक्नॉलाजी के विद्यार्थियों को सबसे ज्यादा फायदा होगा।