नईदुनिया प्रतिनिधि, भोपाल : वर्तमान में अलग-अलग स्थानों पर छह मौसम प्रणालियां सक्रिय हैं। हवा का रुख भी अभी दक्षिण-पूर्वी एवं दक्षिण-पश्चिमी बना हुआ है। मौसम विज्ञानियों के मुताबिक, हवाओं के साथ अरब सागर एवं बंगाल की खाड़ी से नमी आ रही है। इस वजह से प्रदेश के अधिकतर शहरों में बादल बने हुए हैं। साथ ही दोपहर के बाद तेज रफ्तार से हवाएं चलने के साथ गरज-चमक की स्थिति बन रही है।
रविवार को सुबह साढ़े आठ बजे से शाम साढ़े पांच बजे तक सीधी में तीन, छिंदवाड़ा में दो, मंडला में दो एवं मलाजखंड में दो मिलीमीटर वर्षा हुई। प्रदेश में सबसे अधिक 43.2 डिग्री सेल्सियस तापमान नर्मदापुरम में दर्ज किया गया। मौसम का इस तरह का मिजाज अभी तीन-चार दिनों तक बना रह सकता है। बादल बने रहने के कारण दिन के तापमान में अधिक बढ़ोतरी होने की संभावना कम है, लेकिन वातावरण में नमी बरकरार रहने के कारण उमस बढ़ेगा।
मौसम विज्ञान केंद्र से मिली जानकारी के मुताबिक, वर्तमान में पाकिस्तान के आसपास एक पश्चिमी विक्षोभ हवा के ऊपरी भाग में चक्रवात के रूप में बना हुआ है। इसके साथ एक द्रोणिका भी संबद्ध है। दक्षिणी राजस्थान एवं हरियाणा पर भी हवा के ऊपरी भाग में चक्रवात बने हुए हैं। उत्तर-पूर्वी मध्य प्रदेश से लेकर केरल तक एक द्रोणिका बनी है। उत्तर प्रदेश से लेकर असम तक भी एक द्रोणिका है। इसके अतिरिक्त अरब सागर और उससे लगे पाकिस्तान पर भी हवा के ऊपरी भाग में एक चक्रवात बना हुआ है।
मौसम विज्ञान केंद्र के पूर्व वरिष्ठ मौसम विज्ञानी अजय शुक्ला ने बताया कि अलग-अलग स्थानों पर बनी इन मौसम प्रणालियों के असर से अरब सागर एवं बंगाल की खाड़ी से नमी आने का सिलसिला बना हुआ है। इस वजह से प्रदेश के अधिकतर शहरों में तेज रफ्तार से हवाएं चलने के साथ गरज-चमक की स्थिति बन रही है। कहीं-कहीं हल्की वर्षा होने के साथ ओले भी गिर रहे हैं। इस तरह की स्थिति अभी तीन-चार दिन तक बनी रह सकती है