रायपुर। राज्य में कोयला परिवहन घोटाले की जांच कर रहे प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने शुक्रवार को राज्य प्रशासनिक सेवा की अधिकारी सौम्या चौरसिया को गिरफ्तार कर लिया। उन्हें ईडी की विशेष अदालत में पेश किया गया। अदालत ने चार दिन की रिमांड पर सौम्या को ईडी को सौंप दिया है। सौम्या को छह दिसंबर को शाम चार बजे दोबारा कोर्ट में पेश किया जाएगा। मनी लांड्रिंग मामले में राज्य में ईडी ने यह पांचवीं गिरफ्तारी की है। सौम्या को गिरफ्तार कर पहले स्वास्थ्य जांच के लिए आंबेडकर अस्पताल लाया गया। देर शाम उन्हें कड़ी सुरक्षा के बीच जिला कोर्ट में न्यायाधीश अजय सिंह राजपूत की अदालत में पेश किया गया।
राजधानी रायपुर में शुक्रवार को ईडी ने बड़ी कार्रवाई की है। राज्य प्रशासनिक सेवा की अधिकारी और उप सचिव सौम्या चौरसिया को गिरफ्तार कर ईडी ने देर शाम को जिला कोर्ट में न्यायाधीश अजय सिंह राजपूत की अदालत में सौम्या को पेश किया। इससे पहले सौम्या को आंबेडकर अस्पताल ले जाया गया था। वहां रूटीन स्वास्थ्य जांच कराने के बाद उन्हें ईडी की टीम भारी सुरक्षा व्यवस्था में कोर्ट लेकर पहुंची। कोर्ट से ईडी ने पूछताछ के लिए 14 दिन की रिमांड मांगी। जिस पर करीब डेढ़ घंटे तक चली बहश के बाद न्यायाधीश अजय सिंह राजपूत ने चार दिन का रिमांड मंजूर किया। सौम्या चौरसिया को अब छह दिसंबर शाम चार बजे दोबारा कोर्ट में पेश किया जाएगा।मनी लांड्रिंग और आय से अधिक संपत्ति मामले में ईडी की कार्रवाई में यह पांचवी गिरफ्तारी है।
Raipur News: प्रिवेंशन आफ मनी लांड्रिंग एक्ट मामले में सौम्या चौरसिया गिरफ्तार, ईडी ने 10 दिन की मांगी रिमांड#Raipur #CG #Chhattisgarh #Saumyachaurasia #ED #EnforcementDirectorate https://t.co/hQu3QnS19n pic.twitter.com/ny1xfUTgpH
— NaiDunia (@Nai_Dunia) December 2, 2022
शुक्रवार शाम सवा पांच बजे कोर्ट में सौम्या चौरसिया को पेश कर ईडी ने पूछताछ के लिए रिमांड मांगा। ईडी की तरफ से कोर्ट में कहा गया कि कम से कम सप्ताहभर के लिए सौम्या को हिरासत में रखकर पूछताछ करना चाहते हैं। ईडी के अधिकारियों ने दावा किया है कि कोल माइनिंग में अवैध लेन-देन और मनी लांड्रिंग के सिलसिले में सौम्या के खिलाफ कुछ अहम सबूत मिले हैं। ईडी ने 14 दिनों की रिमांड मांगी। अफसरों ने कहा कि पूछताछ में समय लगेगा, बहुत से दस्तावेजों और सबूतों का परीक्षण चल रहा है। इस पर बचाव पक्ष के अधिवक्ताओं ने कहा कि लगातार ईडी पूछताछ करने सौम्या चौरसिया को बुला रही है और वे जा भी रही है। अब पूछताछ करने को क्या बाकी रह गया जो रिमांड पर लेना चाहते है।
छह दिसंबर को अगली सुनवाई
वहीं दोनों पक्षों को सुनने के बाद न्यायाधीश राजपूत ने रिमांड देने की हामी भरी। देर शाम पौने सात बजे केवल चार दिन का रिमांड का आदेश दिया गया। ईडी के अधिकारी चार दिनों तक सौम्या से पूछताछ करेंगे। सौम्या से पहले ईडी की गिरफ्त में आइएएस समीर बिश्वनोई,कारोबारी सूर्यकांत तिवारी, लक्ष्मीकांत तिवारी और सुनील अग्रवाल आ चुके हैं। चारों आरोपित एक महीने से अधिक समय तक फिलहाल रायपुर सेंट्रल जेल में हैं। ये सभी छह दिसंबर तक न्यायिक रिमांड पर जेल भेजे गए हैं। सौम्या समेत सभी के मामलों की छह दिसंबर को ही कोर्ट सुनवाई करेगी।
सस्ते में जमीन खरीदकर मंहगे दर पर बेचने का आरोप
ईडी की गिरफ्त में आई उपसचिव सौम्या चौरसिया की ओर से पैरवी कर रहे अधिवक्ता फैजल रिजवी ने पत्रकारों को बताया कि ईडी का सौम्या पर आरोप है कि उन्होंने माता,भाई और रिश्तेदारों के नाम से जमीन थी,उसे बेचकर सस्ते में जमीने खरीदी है।यह आयकर के दायरे में आता है।जबकि सौम्या की ओर से बताया गया कि ये जमीने पिता के नाम से थी,डायवर्सन कराने पर जमीनों का रेट बढ़ा है।कोल से उनका कोई कनेक्शन नहीं है।कोर्ट ने ईडी के हिरासत में पूछताछ के दौरान उनके वकीलों को दूर से देखने की छूट दी है।
छावनी में तब्दील कोर्ट परिसर
सौम्या चौरसिया को कोर्ट पेश होते ही परिसर में भारी संख्यां में पुलिस बल तैनात रहा।ईडी की टीम के साथ सीआरपीएफ के घेरे में सौम्या को कोर्ट में पेश किया गया।इसके बाद वहां पर पुलिस अधिकारी से लेकर क्राइम एंड साइबर के जवान,खुफिया विभाग के कर्मचारी पल-पल की घटनाक्रम पर नजर गड़ाए हुए थे।कोर्ट में पेश करने और रिमांड मंजूर होने के बाद निकलते समय सौम्या को सुरक्षा घेरे में बाहर ले जाया गया।
अब तक क्या-क्या हुआ
प्रवर्तन निदेशालय(ईडी) ने आइएएस समीर बिश्नोई के यहां छापा मारकर 47 लाख रुपए नकद और दो करोड़ रुपए के गहने बरामद किए थे। उसके बाद 13 अक्टूबर को बिश्नोई को गिरफ्तार कर लिया गया था।कोर्ट ने पहले आठ दिन और बाद में छह दिन के लिए ईडी को रिमांड पर दिया था। यह रिमांड 27 अक्टूबर को पूरी हो रही थी।तब तक सरकार ने बिश्नोई के संबंध में कोई एक्शन नहीं लिया। इस बीच 19 अक्टूबर को एक आदेश जारी कर छत्तीसगढ़ इंफोटेक प्रमोशन सोसाइटी-चिप्स में रितेश अग्रवाल को अस्थायी तौर पर मुख्य कार्यपालन अधिकारी नियुक्त कर दिया गया।बाद में समीर बिश्नोई को निलंबित किया गया।इसके बाद कोयला कारोबारी सुनील अग्रवाल,लक्ष्मीकांत तिवारी और सूर्यकांत तिवारी की गिरफ्तारी की गई।
जैसा कि मैं कहता रहा हूं, ईडी द्वारा मेरी उप सचिव सौम्या चौरसिया की गिरफ्तारी एक राजनीतिक कार्रवाई है।
हम इसके ख़िलाफ़ पूरी ताक़त से लड़ेंगे।
— Bhupesh Baghel (@bhupeshbaghel) December 2, 2022