नईदुनिया प्रतिनिधि,रायपुर। महाराष्ट्र में 6,600 करोड़ के क्रिप्टो करेंसी घोटाले के मामले में रायपुर के गौरव मेहता के पचपेढ़ी नाका आम्रपाली सोसाइटी स्थित घर पर मुंबई ईडी की टीम के बाद अब सीबीआइ की जांच शुरू हो गई है। गुरुवार रात से ही सीबीआइ के अधिकारी घोटाले के मास्टर माइंड बताए जा रहे गौरव उसके भाई अक्षत से पूछताछ कर रहे हैं।
पूछताछ का अंतिम दौर चल रहा है और जल्द ही गौरव की गिरफ्तारी के साथ ही उसे विशेष कोर्ट में पेशकर रिमांड पर लेने की तैयारी भी है। ईडी की टीम ने गौरव मेहता के घर बुधवार की सुबह दबिश दी थी। गौरव मेहता पुणे के सारथी एसोशिएट आडिट फर्म के कर्मचारी हैं। इस फर्म के कई ठिकानों पर ईडी की कार्रवाई चल रही है।
ईडी की टीम ने गौरव के घर व दफ्तर से ढेरों दस्तावेज के साथ ही इलेक्ट्रानिक सबूत एकत्र किए है। इसके जरिए गौरव के दिल्ली, महाराष्ट्र के नेटवर्क, निवेशकों से जुड़े लिंक खंगाले जा रहे है। सूत्रों के अनुसार गौरव मेहता एक कंसल्टेंसी के लिए काम करते हैं जो पुणे पुलिस को अमित भारद्वाज के 6600 करोड़ के क्रिप्टो करेंसी घोटाले की जांच में मदद कर रही थी।
गौरव मेहता के बारे में जानने वालों के मुताबिक वह आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस और साइबर फील्ड का एक्सपर्ट है। छत्तीसगढ़ में केंद्रीय जांच एजेंसियों की अब तक हुई हर छापामार कार्रवाई में वह आधिकारिक साइबर सेल टीम में हमेशा शामिल रहा है। कई राज्यों में हुए चुनावों में इसकी पर्दे के पीछे खासी भूमिका रही थी। पूर्व आइपीएस रवींद्रनाथ पाटिल वर्ष 2018 में गौरव की गवाही के बाद ही जेल गए थे।
दरअसल, महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव के बीच हो रही इस कार्रवाई से पहले पुणे के पूर्व आइपीएस अधिकारी रवींद्र नाथ पाटिल ने आरोप लगाया था कि महाराष्ट्र विधानसभा चुनाव में बिटकाइन घोटाले का पैसा इस्तेमाल हो रहा है। गौरव मेहता से कांग्रेस नेत्री सुप्रिया सुले और नाना पटोले ने संपर्क किया था। उन्होंने चुनाव में इस्तेमाल के लिए घोटाले से बिटकाइन के बदले नकदी मांगी थी।
बताया भी जा रहा है कि ईडी के अधिकारियों को गौरव के घर में कुछ दस्तावेज और लैपटाप समेत कंप्यूटर हार्ड डिस्क मिले है,जिसकी जांच ईडी की तकनीकी टीम कर रही है। इसके साथ ही बैंक से संबंधित कुछ अहम दस्तावेज भी मिले है। स्थानीय बैंकों के कर्मचारियों को बुलाकर इसकी जांच भी कराई गई है।
गौरव मेहता के घर व दफ्तर में लगातार चली ईडी की कार्रवाई में खास बात यह रही कि 10 घंटों से ज्यादा समय तक सीबीआई की पांच सदस्यीय टीम ने गौरव के घर के बाहर कार में बैठकर इंतजार किया। ईडी की कार्रवाई खत्म होने के बाद ही सीबीआई के अधिकारी गौरव के घर के भीतर घुसे। जांच में क्या-क्या सामने आया है,फिलहाल इसकी कोई अधिकृत जानकारी नहीं दी गई है।