Jashpur News:दिलीप सिंह जूदेव के सबसे विश्वसनीय साथी रहे विष्णुदेव साय
छत्तीसगढ़ के नवनिर्वाचित मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय भाजपा के दिग्गज नेता और पूर्व केन्द्रीय मंत्री दिलीप सिंह जूदेव के सबसे खास और विश्वास पात्र साथी रहें हैं। विष्णुदेव साय को सक्रिय राजनीति में लाने का श्रेय भी दिलीप सिंह जूदेव को ही जाता है।
By Yogeshwar Sharma
Edited By: Yogeshwar Sharma
Publish Date: Sun, 10 Dec 2023 08:53:45 PM (IST)
Updated Date: Sun, 10 Dec 2023 08:53:45 PM (IST)
जशपुरनगर । छत्तीसगढ़ के नवनिर्वाचित मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय भाजपा के दिग्गज नेता और पूर्व केन्द्रीय मंत्री दिलीप सिंह जूदेव के सबसे खास और विश्वास पात्र साथी रहें हैं। विष्णुदेव साय को सक्रिय राजनीति में लाने का श्रेय भी दिलीप सिंह जूदेव को ही जाता है।
1990 में जिले के कांसाबेल ब्लाक के ग्राम पंचायत बगिया के सरपंच रहने के दौरान दिलीप सिंह जूदेव से विष्णुदेव साय की मुलाकात हुई थी। जूदेव श्री साय के सरल और मिलनसार व्यवहार से प्रभावित होकर उन्हें 1990 में तपकरा विधानसभा सीट से भाजपा का प्रत्याशी बनाया था। जूदेव के विश्वास पर खरा उतरते हुए विष्णुदेव साय ने 24732 वोट से जीत दर्ज कर अविभाजित मध्यप्रदेश के विधानसभा पहुंचे थे।
विधायक रहते हुए साय के काम से प्रभावित दिलीप सिंह जूदेव ने उन्हें 1999 में रायगढ़ लोकसभा क्षेत्र से चुनाव मैदान में उतारा था। इसके बाद 2014 तक लगातार चार बार इसी संसदीय क्षेत्र का नेतृत्व करते रहे। 2013 में दिलीप सिंह जूदेव के निधन के बाद भी जशपुर राजपरिवार से विष्णुदेव साय का संबंध पूर्ववत बना हुआ है।
पार्टी के अनुशासित कार्यकर्ता और बेदाग छवि
विष्णुदेव साय की छवि,पार्टी के अनुशासित कार्यकर्ता और बेदाग छवि की रही है। इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि 2014 में लोकसभा चुनाव में टिकट काटे जाने के बाद उन्होनें पार्टी के निर्णय को स्वीकार किया। इसी प्रकार 2022 में प्रदेश अध्यक्ष पद से हटाए जाने के बाद भी साय ने पार्टी आलाकमान के निर्णय को स्वीकार किया।
हालांकि विश्व आदिवासी दिवस के दिन पार्टी अध्यक्ष के पद से साय को हटाए जाने को लेकर विपक्षी पाटियों ने भाजपा के निर्णय पर सवाल उठाए लेकिन विष्णुदेव साय पार्टी के निर्णय को स्वीकार किया। लगातार 20 साल तक सांसद रहने और लगभग 2 साल तक केन्द्रीय इस्पात खान राज्य मंत्री रहने के बाद साय की बेदाग छवि उन्हें मुख्यमंत्री के पद तक पहुंचाने में महत्वपूर्ण भूमिका रही।