विश्व टेलीविजन दिवस विशेष स्मार्ट हुआ "बक्सा", बड़ी स्क्रीन पर कंटेंट देखना कर रहे पसंद
साल 1900 में पेरिस प्रदर्शनी में पहली बार उपयोग किए गए ‘टेलीविजन’ शब्द से लेकर 1925 में मानव चेहरे का पहला प्रसारण होने तक, टीवी की यात्रा अनोखी रही है। आज स्मार्ट टीवी तकनीक ने न केवल टीवी का स्वरूप बदला है बल्कि दर्शकों की पसंद भी पूरी तरह से बदल दी है।
By Manoj Kumar Tiwari
Publish Date: Thu, 21 Nov 2024 02:56:15 PM (IST)
Updated Date: Thu, 21 Nov 2024 02:56:15 PM (IST)
HighLights
- शहर के साथ-साथ ग्रामीण इलाकों में भी एंड्राइड टीवी की मांग।
- टेबल पर भारी-भरकम ब्लैक एंड व्हाइट टीवी हुआ करता था।
- दीवारों में चिपके हल्के और स्लिम स्मार्ट टीवी में बदल गया है।
नईदुनिया प्रतिनिधि, बिलासपुर। समय के साथ तकनीक में हो रहे बदलावों ने टीवी देखने के तरीके को भी पूरी तरह बदल दिया है।
जूना बिलासपुर स्थित इलेक्ट्रानिक्स दुकानों के मालिक हंसमुख सिदरा बताते हैं कि अब ग्राहक सामान्य टीवी की जगह स्मार्ट और एंड्राइड टीवी को प्राथमिकता दे रहे हैं। 11-12 हजार रुपये की शुरुआती कीमत में उपलब्ध इन टीवी के चलते हर वर्ग के लोग इन्हें खरीद रहे हैं।
शहर में हर साल हजारों टीवी बिकते हैं, जिसमें स्मार्ट टीवी की हिस्सेदारी लगभग 90 प्रतिशत है।कभी टेबल पर भारी-भरकम ब्लैक एंड व्हाइट टीवी हुआ करता था, जो अब दीवारों में चिपके हल्के और स्लिम स्मार्ट टीवी में बदल गया है।
डिजिटल कंटेंट ने बढ़ाई डिमांड
ओटीटी प्लेटफार्म्स पर तेजी से बढ़ रहे कंटेंट ने स्मार्ट टीवी की डिमांड को और बढ़ावा दिया है। नई फिल्में और वेब सीरीज अब तुरंत उपलब्ध होती हैं, जिन्हें देखने के लिए बाहर जाने की जरूरत नहीं पड़ती।
शिवम् विहार निवासी अंकित साहू बताते हैं कि लाकडाउन के समय से स्मार्ट टीवी का इस्तेमाल कर रहे हैं। वह बताते है कि कोरोना लाकडाउन के समय उनका पूरा परिवार एक साथ पंचायत जैसी वेबसीरीज देखा करता था।
इसी तरह कोनी निवासी हिमांशु दुबे कहते हैं कि इंटरनेट ब्राडबैंड कनेक्शन लेने के बाद से मोबाइल पर देखने के बजाय पूरा परिवार टीवी पर डिजिटल कंटेंट का आनंद लेता है।
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