बिलासपुर। Corona News: रायगढ़ जिले के छह रेलवे स्टेशन झारीडीह, राबर्टसन, भूपदेवपुर, किरोड़ीमल नगर, जामगांव व कोतरलिया में ट्रेनों का ठहराव बंद हो सकता है। कंटेनमेंट जोन के अंतर्गत आने के कारण कलेक्टर ने डीआरएम को इस संबंध में पत्र भी लिखा है। जिसमें कहा गया है कि कंटेनमेंट अवधि तक ठहराव स्थगित कर दिया जाए। इससे संक्रमण को रोकने में मदद मिलेगी। संक्रमितों की पहचान कर उन्हें क्वारंटाइन किया जा सकता है।
ोरोना संक्रमण का कहर बरकरार है। रायगढ़ जिले में कई कंटेनमेंट जोन भी बनाए गए हैं। जिन क्षेत्रों को कंटेनमेंट घोषित किया गया है, उसके अंतर्गत ये छह स्टेशन भी आते हैं। सभी छोटे स्टेशन हैं। इसलिए स्वास्थ्य विभाग की ओर से थर्मल स्क्रीनिंग या कोरोना जांच की कोई व्यवस्था नहीं की गई है। इससे हो यह रहा है कि यात्री ट्रेन से उतरकर सीधे घर चले जाते हैं। इससे यही स्पष्ट नहीं हो पाता है कि कौन यात्री कहां से आ रहा है किस क्षेत्र में जाएगा। इससे संक्रमण फैलने का खतरा है। जब तक इन स्टेशनों में एक्सप्रेस व पैसेंजर ट्रेन ठहरती रहेंगी, इसी तरह की समस्या रहेगी और उद्देश्य के मुताबिक जिला प्रशासन संक्रमण को नहीं रोक पाएगा।
इसलिए कलेक्टर ने डीआरएम को पत्र लिखा है। इसमें उन्होंने कहा कि आपदा प्रबंधन अधिनियम 2005 की धारा 51-60 व महामारी अधिनियम 1897 में वर्णित प्रावधानों व प्रदत्त शक्तियों के तारतम्य में कोविड-19 संक्रमण की रोकथाम के लिए हावड़ा-मुंबई रेल मार्ग पर स्थित इन रेलवे स्टेशनों में ट्रेनों का स्टापेज बंद कर दिया जाए। यह व्यवस्था कंटेनमेंट अवधि तक लागू की जाए। उन्होंने इस संबंध में उचित निर्णय लेकर अवगत कराने के लिए भी कहा है।
बोर्ड से मांगा दिशा-निर्देश
जिला प्रशासन का पत्र रेलवे को मिल चुका है। हालांकि डीआरएम आलोक सहाय ने कार्यालय बंद होने के कारण पत्र नहीं मिलने की बात कही है। पर खबर यह है कि रेलवे बोर्ड को इसकी जानकारी देते हुए दिशा-निर्देश मांगा गया है। बोर्ड से अभी इस पर किसी तरह का निर्णय नहीं हुआ ह।
सभी छोटे स्टेशन हैं। इसलिए जांच की व्यवस्था नहीं है। यात्री ट्रेन से उतरने के बाद चले जाते हैं। इस वजह से यह स्पष्ट नहीं हो पाता कि कौन कहां से आया है। उनकी कोरोना जांच भी नहीं हो पाती। संक्रमण को रोकने के लिए ट्रेनों का स्टापेज कंटेनमेंट अवधि तक बंद करना बेहद जरूरी है। इसीलिए डीआरएम को पत्र लिखा गया है।
भीम सिंह
कलेक्टर, रायगढ़