बीजापुर। छत्तीसगढ़ के बीजापुर जिले में सुरक्षा बल के जवानों ने एक बड़ी सफलता हासिल की है। जवानों ने कोरचोली गांव की ओर जाने वाली पगडंडी पर 5 किलोग्राम का आईईडी (इंप्रोवाइज्ड एक्सप्लोसिव डिवाइस) बरामद किया है। यह आईईडी नक्सलियों द्वारा पुलिस पार्टी को निशाना बनाने के उद्देश्य से लगाया गया था, लेकिन जवानों की सतर्कता ने इस खतरनाक मंसूबे को विफल कर दिया।
यह मामला गंगालूर थाना क्षेत्र का है, जहां 20 अक्टूबर, रविवार को डीआरजी (डिस्ट्रिक्ट रिजर्व गार्ड) बीजापुर, कोबरा 202 और बीडीएस (बम निरोधक दस्ता) बीजापुर की संयुक्त टीम ने कोरचोली की ओर एरिया डॉमिनेशन और डिमाइनिंग ड्यूटी पर जाने के लिए निकली थी। गश्त के दौरान, जब टीम ने डिमाइनिंग कार्य शुरू किया, तो उन्हें कोरचोली गांव की ओर जाने वाली पगडंडी पर एक संदिग्ध वस्तु दिखाई दी।
जवानों ने तुरंत सावधानी बरतते हुए स्थिति का आकलन किया और यह पाया कि यह एक प्रेशर आईईडी है। नक्सलियों के इस हमले को विफल करने के लिए बीडीएस की टीम ने सतर्कता से इस आईईडी को रिकवर किया और फिर इसे सुरक्षित तरीके से नष्ट कर दिया। जवानों की सूझबूझ और सजगता से न केवल अपनी जान को खतरे में डालने से बचाया, बल्कि बड़ी अनहोनी को भी टाल दिया।
इससे पहले नारायणपुर के कोडलियर गांव के जंगल में पास शनिवार की सुबह हुए आइईडी विस्फोट में आइटीबीपी (इंडियन तिब्बतन बार्डर पुलिस) के दो जवान अमर पवार निवासी सतारा, महाराष्ट्र व के. राजेश निवासी कड़प्पा, आंध्रप्रदेश बलिदान हो गए हैं। विस्फोट में जिला बल के दो जवान अरविंद सर्फे व अनिल कुंजाम को मामूली चोट आई है। घायल जवानों का उपचार किया जा रहा है। दोनों की स्थिति सामान्य बताई जा रही है।
पुलिस ने बताया कि आईटीबीपी, बीएसएफ (बार्डर सिक्योरिटी फोर्स) व डीआरजी (डिस्ट्रिक्ट रिजर्व गार्ड) की संयुक्त पार्टी नक्सल विरोधी अभियान में ओरछा, मोहदी, इरकभट्टी की ओर गए हुए थे। अभियान से वापसी के दौरान शनिवार की सुबह लगभग 11:30 बजे नक्सलियों के किए गए बारुदी सुरंग विस्फोट की चपेट में जवान आ गए। जवानों को एयरलिफ्ट किया गया है। रविवार को गार्ड आफ आनर के बाद जवानों के पार्थिव देह गृहग्राम भेजे जाएंगे।