इंदौर। शहर में एक नया आइटी पार्क बनने जा रहा है, जिसकी ऊंचाई 70 मीटर के आसपास होगी। फिलहाल इंदौर की सबसे ऊंची इमारत पूर्वी रिंग रोड स्थित पिनेकल डी ड्रीम्स की ऊंचाई करीब 62 मीटर है। एमपीआइडीसी इससे भी ऊंची इमारत के प्रोजेक्ट पर काम कर रही है। मध्य प्रदेश इंडस्ट्रियल डेवलपमेंट कॉरपोरेशन (एमपीआइडीसी) अगले साल जनवरी में अपने तीसरे आइटी पार्क का निर्माण शुरू करेगा। शहर में स्टेट इलेक्ट्रॉनिक डेवलपमेंट कॉरपोरेशन (एसईडीसी) के भी तीन आईटी पर्क हैं। इस हिसाब से प्रास्तावित प्रोजेक्ट शहर में छठे आइटी पार्क के रूप में आकार लेगा। इसका प्रस्ताव प्रदेश सरकार के पास भेज दिया गया है। एमपीआइडीसी ने उम्मीद जताई है कि इसकी मंजूरी जल्द मिल जाएगी।
देवी अहिल्या विश्वविद्यालय के खंडवा रोड कैंपस के पास क्रिस्टल आइटी पार्क के बगल में प्रस्तावित एमपीआइडीसी के आइटी पार्क-3 में पांच सितारा स्तरीय सुविधाएं होंगी। एमपीआइडीसी, इंदौर के कार्यकारी निदेशक रोहन सक्सेना ने बताया कि यह विश्व स्तरीय मानकों वाला अनूठा प्रोजेक्ट होगा, जिसे उन्होंने 'वन ऑफिस वन काइंड' नाम दिया है।
ढाई साल का प्रोजेक्ट
कुल लागतः 393 करोड़ रुपये
निर्माण की शुरुआतः जनवरी, 2021
निर्माण की अवधिः 30 महीने
डिलिवरी की शुरुआतः जून, 2023 से
(सभी चीजें अनुमानित)
प्रोजेक्ट का खाका
- 2.38 हेक्टेयर जमीन में फैली होगी परियोजना
- 49,662 वर्ग मीटर में होंगे विभिन्न दफ्तर
- 6,000 वर्ग मीटर में बनेगा तीन सितारा होटल
- 3,000 वर्ग मीटर जगह का कमर्शियल इस्तेमाल
स्वच्छ ऊर्जा को सपोर्ट
- इमारत की छत पर लगे होंगे ऊंची क्षमता के सोलर पैनल
- परिसर में बनेगा ईवी (इलेक्ट्रिक व्हीकल) चार्जिंग स्टेशन
- परिसर के भीतर ही एक डेटा सेंटर भी तैयार किया जाएगा
इसलिए पड़ी जरूरत
एमपीआइडीसी के दो आइटी पार्क पूरी तरह बुक हो गए हैं। कॉरपोरेशन के क्रिस्टल आइटी पार्क में 17 और अतुल्य आइटी पार्क में 28 दफ्तर हैं। सक्सेना ने बताया कि शहर में इस तरह की फैसिलिटी की मांग लगातार बनी हुई है। कंपनियों को ऑफिस सेटअप के लिए प्रोपर इकोसिस्टम चाहिए और एमपीआइडीसी उनकी यही जरूरत पूरी करना चाहती है।
आईटी हब बनने की राह पर इंदौर
इंदौर में फिलहाल आइटी (इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी) सेक्टर की 84 कंपनियों के दफ्तर हैं। इनमें इंफोबीन्स टेक्नोलॉजीज जैसी कई कंपनियों के मुख्यालय भी यहीं हैं। इसके अलावा टीसीएस और इंफोसिस जैसी दिग्गज मल्टिनेशनल भारतीय आइटी कंपनियों के दफ्तर भी शहर में हैं। एक दिग्गज आईटी कंपनी में काम कर रहे सॉफ्टवेयर इंजीनियर महेश कुलश्रेष्ठ ने कहा कि इंदौर की भौगोलिक स्थिति, यहां मौजूद सुविधाएं और स्वच्छ आबोहवा आइटी कंपनियों को आकर्षित करती है।