किसी भी प्रकार की चिंता या तनाव सेहत के लिए काफी नुकसानदायक होती है, लेकिन कई बार लोग Anxiety की समस्या को अनदेखा कर देते हैं।
Anxiety की समस्या बढ़ने पर कई बार लोग डिप्रेशन के शिकार हो जाते हैं। एंजाइटी को इग्नोर करना ठीक नही है। इसकी वजह से एंजाइटी अटैक की स्थिति बन जाती है।
एंजाइटी अटैक आने पर दिल का तेजी से धड़कना, सांस फूलने लगना, हर समय चिंता महसूस होना, डर लगना, बेचैनी होने जैसे लक्षण दिखाई देने लगते हैं।
एंजाइटी की समस्या होने पर लोग दूसरों से बात करने से घबराते हैं। कुछ बातें दिमाग को डिस्टर्ब कर देती हैं और वे लगातार चुप रहते हैं।
एंजाइटी में इंसान नर्वस हो जाता है। उसे बेचैनी होती है और सांस तेजी से चलने लगती है। ऐसे लोग एंजाइटी को छिपाने के लिए किसी सामान का सहारा लेते हैं।
एंजाइटी से ग्रस्त व्यक्ति अकेले में रहने लगता है। किसी भी सोशल इवेंट में जाने से घबराता है, इसलिए लगातार एकाकीपन उसे ठीक लगने लगता है।