नईदुनिया प्रतिनिधि, खरगोन। खरगाने जिले के लाखी में क्रूर मां ने जन्म के कुछ ही देर के बाद नवजात (लड़का) को लाल कपड़े में लपेटकर फेंक दिया। नवजात को ग्रामीणों ने देखकर 108 एंबुलेंस की मदद से जिला अस्पताल पहुंचाया। यहां एसएनसीयू में नवजात जिंदगी और मौत से जूझ रहा है। उधर, पुलिस ने केस दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।
खरगोन जिला मुख्यालय से 16 किमी दूर लाखी मोहम्मदपुरा रोड पर शुक्रवार को सुबह 5:30 बजे ग्रामीणों ने पुलिया किनारे झाड़ियों में नवजात को लाल कपड़ों में लिपटा पड़ा देखा। उसकी सांस तेजी से चल रही थी। महिलाओं ने उसे सुरक्षित एक बॉक्स में रखा। उसके बाद गोगावां पुलिस को सूचना दी।
108 एंबुलेंस की मदद से ग्रामीण कमलेश गवली, महेश यादव, कमल सेंगर व दीपक यादव ने नवजात को जिला अस्पताल भिजवाया। ग्रामीणों के मुताबिक नवजात को कोई पुलिया के पास छोड़ गया था। वह कुछ देर पहले ही जन्मा था। उन्होंने बताया कि बच्चा नाल से लिपटा हुआ था।
मानवता को शर्मशार करने वाले मामले में गोगावां पुलिस अब नवजात के माता-पिता की तलाश कर रही है। उधर, पुलिस अधिकारियों का कहना है कि जिले में जीवित या मृत नवजात फेंकने के दस से ज्यादा मामले दर्ज होते हैं। अब तक एक भी केस में कोई आरोपी गिरफ्तार नहीं हुआ है।
नवजात को जिला अस्पताल के एसएनसीयू में भर्ती किया है। यहां डॉ. पवन पाटीदार ने नवजात की जांच की है। उन्होंने बताया कि नवजात आठ माह में पैदा हुआ है। उसका करीब तीन घंटे पहले ही जन्म हुआ है।
बच्चे का वजन 1 किलो 800 ग्राम का है। उन्होंने बताया की बच्चा प्री-मेच्योर है। उसे सांस लेने में तकलीफ होने के बाद ऑक्सीजन सपोर्ट पर रखा गया है। उसके स्वास्थ्य पर नजर रखी जा रही है। अभी वो स्थिर है।